AIIMS में समोसा और ब्रेड पकौड़ा बैन! अब अस्पताल की कैंटीन में मिलेगा ज्वार बाजरे का खाना
अब एम्स में मिलेट्स कैंटीन शुरू हो रही है, और हर कैंटीन में समोसा और ब्रेड पकौड़ा जैसे प्रॉडक्ट बैन होंगे. मोटे अनाज के सेहतमंद फायदे अब गेंहू चावल पर भारी पड़ रहे हैं.
Millets Food in AIIMS: केंद्र सरकार की ओर से इस साल Millets या मोटे अनाजों को बढ़ावा देने के लिए International Year of the Millet मनाया जा रहा है. भारत खुद को मोटे अनाजों के उत्पादन में और आगे ले जाना चाहता है और ग्लोबली अपनी एक जगह बनाना चाहता है. भारत के प्रस्ताव के बाद संयुक्त राष्ट्र (United Nations) ने खासतौर पर 2023 को International Year of the Millet घोषित किया है. लेकिन अब मिलेट्स की यह क्रांति देश के प्रतिष्ठित चिकित्सा संस्थान AIIMS (All India Instittute of Medical Sciences) तक पहुंच गई है. अब एम्स में मिलेट्स कैंटीन शुरू हो रही है, और हर कैंटीन में समोसा और ब्रेड पकौड़ा जैसे प्रॉडक्ट बैन होंगे. मोटे अनाज के सेहतमंद फायदे अब गेंहू चावल पर भारी पड़ रहे हैं.
AIIMS की कैंटीन में मिलेंगे हेल्दी ऑप्शंस
अबAIIMS के डॉक्टरों को समोसे, ब्रेड पकौड़े और कोल्ड ड्रिंक से छुटकारा मिल सकेगा. एम्स में बनी डॉक्टरों की कैंटीन में अब मिलेट्स वाला खाना बनेगा. रागी का डोसा, ज्वार की रोटी, बाजरे की खिचड़ी और रागी के लड्डू जैसे कुछ डिशेज़ हैं जो अब कैंटीन में दिखाई देंगी. एम्स प्रशासन ने ऐसे हेल्दी ऑप्शन की शुरुआत कर दी है. फिलहाल ये सुविधा एम्स के डॉक्टरों की कैंटीन से शुरू हुई है. हालांकि प्रशासन की योजना है कि जल्द ही मरीजों की कैंटीन में भी पोहा, उपमा जैसे स्नैक्स लाए जाएं और समोसा पकौड़े पूरी तरह बैन कर दिए जाएं.
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ग्लूटन से बढ़ता है डायबिटीज
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AIIMS के Endocrinology विभाग के हेड डॉ संजय वाधवा के मुताबिक गेंहू में ग्लूटन होता है जो डायबिटीज़ बढ़ा सकता है, जबकि मिलेट्स यानी मोटे अनाज में फाइबर होता है. ऐसे में हम आम लोगों को भी अपने रोज के खाने में मिलेट्स का प्रयोग बढ़ाने की सलाह देते हैं. ये मोटा अनाज ज्यादा सेहतमंद माना जाता है. हालांकि डॉक्टरों ने लोगों को पूरी तरह मोटे अनाज पर शिफ्ट होने से बचने को कहा है.
जानिए क्या होते हैं Millets यानी मोटा अनाज
- Pearl millet यानी बाजरा कोलेस्ट्रॉल कम करता है और वजन घटाता है. बाजरे की खिचड़ी लड्डू और खीर बनाई जा सकती है.
- Finger millet यानी रागी ग्लूकोज की मात्रा कंट्रोल करता है और कैल्शियम भरपूर मात्रा में देता है. रागी का डोसा, इडली, चीला, और बिस्किट भी बनाए जा सकते हैं.
- रामदाना में भरपूर मात्रा में कैल्शियम पाया जाता है. इससे टिक्की, सलाद और लड्डू बनाए जा सकते हैं.
- Buckwheat millet यानी कुट्टू पोटेशियम, मैग्नीशियम और कैल्शियम भरपूर मात्रा में पाया जाता है. कुट्टू के पकौड़े, पूरी और रोटी बनाई जा सकती है.
- Barnyard millet यानी सामक फाइबर से भरपूर होता है. सामक के चावल, दलिया, और खीर बनाई जा सकती है.
- Foxtail millet यानी कंगनी दिल की सेहत, बालों और त्वचा के लिए बहुत अच्छा माना जाता है. इससे डोसा और चीला बनाए जा सकते हैं.
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06:50 PM IST